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Mushroom ki kheti : इसकी खेती से जुडी हर जानकारी यहाँ प्राप्त करे

Mushroom ki kheti : मशरूम से जुडी हर जानकारी यहाँ प्राप्त करे

Mushroom ki kheti

Mushroom ki kheti कम जगह में होने वाली खेती है | मशरूम प्रोटीन ,विटामिन और मिनिरल्स से भरपूर होता है जो सेहत के लिए काफी लाभदायक होता है | यदि आप भी करना चाहते है इसकी खेती और कामना चाहते है अच्छा मुनाफा तो पढ़िए पूरा लेख और हमारे इंस्टाग्राम चैनल से जुड़ने के लिए यहाँ क्लीक करे |

इसकी खेती कैसे करें

Mushroom ki kheti  एक लाभदायक और कम जगह में होने वाली खेती है। इसके लिए सबसे पहले आपको मशरूम के छत्री (स्पॉन) की जरुरत होती है, जो कई प्रकर के होते हैं जैसे ऑयस्टर, बटन या शीटाके मशरूम। खेती शुरू करने के लिए आपको एक ऐसी जगह की ज़रूरत होती है जहा गर्मी और सीधे सूरज की रोशनी पढ़ती हो । पहले चरण में, स्पॉन को पास्चुरीकृत भूसा या खाद में मिला दिया जाता है। फिर, इन्हें एक ठीक ढकन के साथ ढका जाता है ताकि विकास के लिए सही आदर्श (आर्द्र) जलवायु मिल सके। 15-20 दिनों में, मशरूम उगने लगते हैं, जो 30-35 दिनों में पूरी तरह से तैयार हो जाते हैं।

Mushroom ki kheti से लाभ

Mushroom ki kheti से कई तरिके के लाभ होते हैं। ये एक जैविक उपज है जो काफी महंगी बिकती है, इसलिए इसमें मुनाफ़ा भी अच्छा होता है। मशरूम प्रोटीन, विटामिन और मिनरल्स से भरपूर होते हैं, इसलिए इनकी मांग हमेशा बनी रहती है। इसके अलावा, मशरूम की खेती छोटे किसानो के लिये भी लाभदायक है क्योकि इसकी खेती कम जगह में की जाती है ,। मशरूम की सबसे बड़ी खासियत ये है कि इसे आप अलग-अलग मौसम में उगाकर अलग-अलग फ़सलों के समय अनुसार बेच सकते हैं।

मशरूम का बीज कितने रुपये किलो आता है

मशरूम के बीज की कीमत उनकी प्रजाती के अनुसार बदलती रहती है । आम तोर पर , मशरूम के बीज की कीमत ₹150 से ₹300 प्रति किलो तक होती है। कुछ प्रजातियों के स्पॉन थोड़े महंगे होते हैं, जैसे की शीटके मशरूम, जिसका स्पॉन ₹400 प्रति किलो तक जा सकता है। इन्हे आप ऑनलाइन भी खरीद सकते है या किसी सामान विक्रेता से भी प्राप्त कर सकते है |

Mushroom ki kheti में खर्चा कितना आता है

Mushroom ki kheti में आने वाला खर्चा कई कारकों पर निर्भर करता है जैसे मशरूम की प्रजाती, खेती का पैमाना और उपयोग किया गया समान। यदि आप मशरूम किनखेति छोटे स्केल पर करते है तो शुरूआती खर्चा लगभग ₹10,000 से ₹15,000 तक आ सकता है। इसमे स्पॉन की कीमत, पाश्चुरीकरण के लिए लगने वाली सामग्री, जगह का बंदोबस्त, और सिंचाई प्रणाली का खर्चा शामिल होता है। बड़े पैमाने पर ये खर्चा ₹50,000 से ₹1 लाख या उससे ज्यादा भी हो सकता है, क्योंकि इसमें ज्यादा स्पॉन और उन्नत सुविधाओं का उपयोग किया जाता है।

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